गुरु पूर्णिमा (व्यास पूर्णिमा) के दिन अमरनाथ यात्रा के लिए छड़ी मुबारक यात्रा रविवार को सवेरे श्रीनगर से पहलगाम के लिए रवाना हुई, और इसके साथ ही इस साल की यात्रा की विधिवत शुरुआत हो गई। कोविड-19 के कारण इस बार यात्रा की अवधि भी छोटी होगी और श्रद्धालुओं की संख्या भी कम ही रखी जाएगी। आम श्रद्धालुओं के लिए यात्रा 21 जुलाई से ही शुरू होगी और 3 अगस्त को रक्षाबंधन के दिन संपन्न होगी। एक दिन में अधिकतम 500 यात्रियों को ही जाने की इजाजत रहेगी। रविवार सवेरे ही जम्मू-कश्मीर के उप राज्यपाल गिरीश चंद्र मुर्मू ने अपने परिजनों के साथ हेलिकॉप्टर से अमरनाथ पहुंचकर गुफा में पूजा-अर्चना की।
रविवार सवेरे छह बजे करीब सौ साधु-संतों और अन्य लोगों के साथ श्रीनगर के दशनामी अखाड़े से पहलगाम के लिए छड़ी मुबारक रवाना हुई। रविवार को ही पहलगाम में अमरनाथ छड़ी मुबारक का भूमि पूजन, नवग्रह पूजन और ध्वजारोहण की रस्म पूरी की जाएगी। उसके बाद छड़ी अमरनाथ की ओर रवाना होगी। इससे पहले केंद्र शासित प्रदेश जम्मू-कश्मीर के प्रशासन ने शनिवार को कहा था कि सड़क मार्ग से 3,880 मीटर ऊंचाई पर स्थित पवित्र गुफा जाने के लिए रोजाना सिर्फ 500 यात्रियों को अनुमति दी जाएगी। प्रशासन ने यह भी कहा कि अमरनाथ तीर्थयात्रियों पर भी केंद्र शासित क्षेत्र में प्रवेश के दौरान की जाने वाली जांच की मानक संचालन प्रक्रिया (एसओपी) लागू होगी।
इस साल तीर्थयात्री केवल उत्तरी कश्मीर के बालटाल मार्ग से होकर जा पाएंगे। पहलगाम मार्ग से अनुमति नहीं दी जाएगी। आमतौर पर अमरनाथ यात्रा 45 से 60 दिन तक चलती है लेकिन इस बार यात्रा केवल 14 दिन की होगी। पहले यह यात्रा 23 जून से शुरू होनी तय थी। साधु-संतों के अलावा 55 साल से कम उम्र के श्रद्धालुओं को ही यात्रा की इजाजत दी गई है। बच्चे और बुजुर्ग इस बार बाबा बर्फानी के दर्शन नहीं कर सकेंगे। यात्रा ड्यूटी पर तैनात होने वाले डॉक्टरों और पैरामेडिकल कर्मियों के लिए दवाओं, पीपीई किट, मास्क, स्लीपिंग बैग और उपभोग की दूसरी वस्तुओं के पर्याप्त इंतजाम किए जा रहे हैं। बालटाल मार्ग पर दो बेस अस्पताल भी स्थापित किए जा रहे हैं।
अमरनाथ श्राइन बोर्ड के मुताबिक यात्रा पर जाने वाले श्रद्धालुओं को कोरोना नेगेटिव का प्रमाणपत्र साथ रखना होगा। जम्मू बेस कैंप में श्रद्धालुओं की आरटीपीसीआर टेस्ट के जरिये कोरोना स्क्रीनिंग होगी। नेगेटिव टेस्ट वाले यात्री ही आगे जा सकेंगे। जिनकी रिपोर्ट नेगेटिव नहीं होगी उन्हें क्वारेंटाइन किया जाएगा। साधुओं को छोड़कर सभी तीर्थयात्रियों को ऑनलाइन पंजीकरण कराना होगा।
रविवार सवेरे जब उप राज्यपाल मुर्मू ने जब अमरनाथ गुफा में पूजा की तो उनके साथ अमरनाथ श्राइन बोर्ड के वरिष्ठ अधिकारी भी थे। उप राज्यपाल श्राइन बोर्ड के पदेन चेयरमैन होते हैं। मुर्मू ने लोगों को कोविड-19 से जल्द मुक्ति मिलने और राज्य में शांति बने रहने की भी कामना की। आज ही से श्राइन बोर्ड दिन में दो बार अमरनाथ आरती का लाइव प्रसारण भी शुरू कर रहा है जो 3 अगस्त तक जारी रहेगा।
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