Sunday, November 24
Home>>अजब-गज़ब>>बर्फ के समंदर में पोलर बीयर से नजदीकी
अजब-गज़बकनाडा

बर्फ के समंदर में पोलर बीयर से नजदीकी

ये बग्गी हमारी बग्गी जैसी नहीं है। टुंड्रा बग्गी पहियों पर ऐसी जगहों की सैर कराती है जहां जाने का कोई सड़क मार्ग नहीं। टुंड्रा बग्गी दुनिया की उन अजग-गजब चीजों में से है जो सैलानियों को लुभाती है।

हम बात कर रहे हैं कनाडा के मनितोबा में हडसन खाड़ी के मुहाने पर स्थित चर्चिल की। इसे दुनिया की पोलर बीयर (ध्रुवीय भालू) राजधानी कहा जाता है। 2006 में चर्चिल शहर की आबादी महज 923 थी। लेकिन इस शहर में ट्रेन जाती है, यहां बंदरगाह है और रोजाना उड़ानें। नहीं है तो बस बाकी कनाडा के लिए कोई सड़क नहीं है। चर्चिल में तीन इकोसिस्टम आकर मिलते हैं- उत्तर में हडसन खाड़ी, उत्तर-पश्चिम में आर्टिक टुंड्रा और दक्षिण में घने जंगल। यह इलाका मई से अगस्त तक पक्षियों को देखने के लिए, जुलाई से अगस्त की गर्मियों में बेलुगा व्हेल मछलियों को देखने के लिए और अक्टूबर-नवंबर में पोलर बीयर देखने के लिए खासा लोकप्रिय है। टुंड्रा बग्गी इसी चर्चिल इलाके में है।

उत्तरी ध्रुव के नजदीक बर्फ पर सैर कराने वाली टुंड्रा बग्गी

पिछले लगभग बीस सालों से टुंड्रा बग्गी उन सैलानियों को सैर करा रही है जो पोलर बीयर को बेहद नजदीक से देखना पसंद करते हैं। टुंड्रा बग्गी लॉज दरअसल पहियों पर एक होटल है। एक होटल जो चलता रहता है। उसका एकमात्र मकसद सैलानियों को हर पल पोलर बीयर का साथ उपलब्ध कराना है। साथ… केवल निगाहों से।

टुंड्रा बग्गी में कुछ इस तरह के होते हैं रुकने के इंतजाम
डैन्स डाइनर डाइनिंग हॉल

आप उन्हें हर पल अपने आसपास महसूस कर सकते हैं, अपने बिस्तर के पास लगी खिड़की से भी। चर्चिल शहर से थोड़ा (लगभग बीस किलोमीटर) दूर वाइल्डलाइफ मैनेजमेंट एरिया में खड़े इस लॉज में जब आप सवेरे आंखें खोलेंगे तो लगभग उसी समय अगर मौसम अच्छा हुआ तो ध्रुवीय भालुओं को बर्फ की खोह से निकलकर खेलता पाएंगे। यह एक यादगार अनुभव है।

टुंड्रा बग्गी लॉज दरअसल कई खास मॉड्यूल्स (वैगन) को जोड़कर बनाया गया है। सारे मॉड्यूल्स पहियों पर हैं, जिन्हें आराम से इधर-उधर ले जाया जा सकता है। सारे मॉड्यूल्स को मिलाकर लॉज की लंबाई सौ मीटर तक हो जाती है। लॉज में दो स्लीपर वैगन होते हैं। इनमें प्रत्येक में 18 से लेकर 20 मेहमान टिक सकते हैं। इसके अलावा लाउंज है, डाइनिंग वैगन है, यूटिलिटी वैगन है।

इतनी नजदीकी का रोमांच

अब जैसा कि हमने पहले कहा कि इस घूमने का एकमात्र मकसद पोलर बीयर को नजदीक से उनके घर में देखना है, लिहाजा जब सैलानी लॉज पर होते हैं तो खास तौर पर शाम को उन्हें इस बात के लिए प्रोत्साहित किया जाता है कि वे वैगनों के बीच में मौजूद खुले डेक पर जाकर बाहर का नजारा लें। इसके अलावा लॉज को छोड़कर भी वैगन (टुंड्रा बग्गी) भीतरी इलाकों में जाते हैं, जहां भालुओं को और नजदीक से देखा जा सकता है।

1987 में लिंडा व मर्व गुंटर ने चर्चिल से पोलर बीयर टूर ले जाना शुरू किया था। हालांकि इसका ख्वाब 1979 में देख लिया गया था जब पहले टुंड्रा वाहन को तैयार किया गया था। अब, खास तौर पर तैयार किए गए ये वाहन चर्चिल वाइल्डलाइफ मैनेजमेंट एरिया में स्थापित रास्तों पर आपको लेकर जाते हैं। टुंड्रा बग्गी संचालित करने वाली नॉर्दर्न फ्रंटियर्स ही अकेली कंपनी जो सर्दियों में जमी हुई चर्चिल नदी पर सैर के लिए लेकर जाती है और इस बग्गी गाड़ी के Thanadelthur लाउंज या डाइनिंग हॉल डैन्स डाइनर में बैठकर आप नॉर्दर्न लाइट्स के अनूठे नजारे को निहार सकते हैं और उसे देखते हुए डिनर कर सकते हैं।

टुंड्रा बग्गी से नॉर्टर्न लाइट्स का नजारा

यहां पर अब तीन तरह के टूर होते हैं- एक प्रकृति प्रेमियों व फोटोग्राफरों के लिए, एक शौकिया लोगों के लिए और तीसरा रोमांच प्रेमियों के लिए। इसी हिसाब से दल में गाइड व दुभाषिये भी होते हैं। भालू लॉज व बग्गी के बिलकुल नजदीक घूमते हैं लेकिन वाहन पूरी तरह सुरक्षित होते हैं। एक औसत नर ध्रुवीय भालू 8 से 10 फुट लंबा होता है जबकि बग्गी के टायर ही साढ़े पांच फुट ऊंचे और 3.6 फुट चौड़े होते हैं। बॉडी उसके ऊपर शुरू होती है। इसलिए खुले डेक पर सैलानी बेखौफ घूमकर नजारा ले सकते है। भीतर जाने वाली बग्गियों में भी बैठने की आरामदायक सीटों के अलावा टॉयलेट, हीटर व जरूरत का अन्य सामान होता है।

फोटोग्राफरों के लिए तो एक अनूठा अनुभव। सभी फोटोः नॉर्दर्न फ्रंटियर्स के सौजन्य से

टुंड्रा बग्गी टूर अक्टूबर-नवंबर में ही होते हैं, और खासे महंगे भी हैं। अलग-अलग टूर व अवधि के लिए शुल्क 1549 कनाडियाई डॉलर (लगभग नब्बे हजार रुपये) से लेकर 9149 कनाडियाई डॉलर (लगभग 5.28 लाख रुपये) तक है। बुकिंग ऑनलाइन है।

टुंड्रा बग्गी का यह सीजन तो कोविड-19 की भेंट चढ़ गया लेकिन आप अगले साल के लिए बेशक अभी से तैयारी शुरू कर सके हैं, आखिरकार यह जीवन में एक बार लिया जाने वाला यादगार अनुभव जो है, थोड़ा खर्चीला भी।

Discover more from आवारा मुसाफिर

Subscribe now to keep reading and get access to the full archive.

Continue reading