यह लगातार तीसरा साल है जब केरल की नौका प्रतिस्पर्धाओं की पहचान माने जाने वाली नेहरु ट्रॉफी बोट रेस को स्थगित किया गया है। यह बोट रेस एक तरह से केरल के टूरिस्ट सीजन का आगाज़ मानी जाती है, लेकिन पहले 2018 में भीषण बाढ़ की वजह से और फिर 2019 में भी उसी के अंदेशे में आगे खिसकने के बाद इस साल कोविड-19 महामारी के कारण इसका आयोजन आगे खिसका दिया गया है। इसे इस साल 8 अगस्त 2020 को होना था, और यह इसका 68वां संस्करण होता। पिछले साल से केरल ने इस दौरान होने वाली तमाम नौका दौड़ों को मिलाकर एक चैंपियंस बोट लीग (सीबीएल) का ऐलान किया था जिसमें नेहरु ट्रॉफी से शुरू होकर नवंबर तक होने वाली कुल 12 नौका दौड़ों के लिए टीमों को उनके प्रदर्शन के आधार पर अंक मिले और अंत में सबसे ज्यादा अंक पाने वाली टीम सीबीएल विजेता बनी। इस साल सीबीएल का दूसरा सीजन होना था। फिलहाल, जब तक नौका दौड़ें फिर से शुरू हों, हम आपको ले...
Read MoreTag: नौका दौड़
आम तौर पर जब नौका दौड़ की बात होती है तो सैलानियों के जेहन में सिर्फ केरल का नाम आता है क्योंकि केरल के बैकवाटर्स अपनी सर्प नौका दौड़ों के लिए दुनियाभर में प्रसिद्ध हैं। लेकिन भारत में और भी इलाके हैं जहां हर साल पारंपरिक रूप से नौका दौड़ होती है। हम यहां बात कर रहे हैं पूर्वोत्तर राज्यों की। असम, त्रिपुरा, मणिपुर आदि राज्यों में हर साल कई नौका दौड़ों का आयोजन होता है। भले ही अभी सैलानी नक्शे पर इनकी जगह उस तरह से न बन पाई हो लेकिन इनकी खूबसूरती व भव्यता में किसी तरह की कोई कमी नहीं हैं। त्रिपुरा की रुद्रसागर झील में बोट फेस्टिवल के लिए जमा लोग। फोटो साभारः यूबी फोटोज त्रिपुरा में हर साल रुद्रसागर झील में एक नौका दौड़ सितंबर-अक्टूबर के महीनों में होती है। रुद्रसागर झील राजधानी अगरतला से 55 किलोमीटर की दूरी पर स्थित है। मेलाघर के पास स्थित इसी झील के बीच में ऐतिहासिक नीरमहल स्थित है।...
Read More
You must be logged in to post a comment.